कविता लिखी नहीं जाती,स्वतः लिख जाती है…

Friday 30 March, 2012

सुनो !

सुनो ! चुप रहना अब
और बस
खुद को सुनो
देखो अभी-अभी कुछ
कहा तुमने
हाँ-हाँ ,शायद
नाम था कोई पुकारा तुमने
ध्यान… से सुनो
नाम क्या है वो ??
है जीवन या म्रत्यु
बताओ तो सही
सुनो !!!गहरे डूबकर
वो नाम खोज लाओ
सुना था मैंने, वो नाम
उसकी पुकार तुम भी तो सुनो….
सुनो !!!!
बस एक वही है सत्य
है तुम्हारे अन्दर
खुद को सुनो बस अब……

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